अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान एम्स ऋषिकेश में आयोजित ट्रॉमा व आपदा प्रबंधन कार्यशाला के तहत रविवार को संस्थान के ट्रॉमा सर्जरी विभाग की ओर से एम्स निदेशक पद्मश्री प्रोफेसर रवि कांत की देखरख में इजरायली ट्रॉमा विशेषज्ञों के समक्ष मास कैजुअल्टी ड्रिल किया गया। जिसके माध्यम से संस्थान की ट्रॉमा सर्जरी विभाग की व्यवस्थाओं को परखा गया।
जिससे बड़ी दुर्घटना व आपदा के समय अधिकाधिक मरीजों को ट्रॉमा चिकित्सा सुविधा दी जा सके। तीन दिवसीय कार्यशाला के अंतिम दिन एम्स के ट्रॉमा सर्जरी विभाग द्वारा मास कैजुअल्टी ड्रिल कर किसी बड़े हादसे,आपदा अथवा बम ब्लास्ट के समय अधिकाधिक घायलों के अस्पताल पहुंचने पर उन्हें दिए जाने वाले त्वरित उपचार का नाट्य रूपांतरण का प्रदर्शन किया। जिसमें संस्थान के ट्रॉमा विभाग के चिकित्सकों के अलावा नर्सिंग ऑफिसरों व सिक्योरिटी गार्डों ने हिस्सा लिया।
इस अवसर पर एम्स निदेशक पद्मश्री प्रो.रवि कांत ने बताया कि इस कार्यशाला का उद्देश्य दुनिया के सबसे बेहतर अस्पतालों से एम्स ऋषिकेश का संपर्क बढ़ाना था। जिससे संस्थान को विश्वस्तरीय अस्पताल के तौर पर विकसित किया जा सके। निदेशक एम्स प्रोफेसर रवि कांत ने आगे भी नियमित तौर पर इजराइल, अमेरिका व आस्ट्रेलिया के साथ संस्थान के डिपार्टमेंट ऑफ ट्रॉमा सर्जरी विभाग समन्वय स्थापित करने पर जोर दिया। जिससे एम्स का सेंटर वर्ल्ड क्लास ट्रॉमा सेंटर के तौर पर स्थापित हो सके। इस अवसर पर इंटरनेशनल फैकल्टी डा.माइकल हेलबरथाल, डा.हानी बहाउथ,मिस गीला हायम्स, संस्थान के ट्रॉमा विभाग के हैड डा.कमर आजम,डा.अजय, डा.मधुर उनियाल,डा.भास्कर सरकार, डा.अमूल्य रतन आदि मौजूद थे।
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ऋषिकेश/हेमवती नन्दन भट्ट (हेमू)