मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने पं. दीनदयाल उपाध्याय को उनकी पुण्यतिथि पर नमन करते हुए कहा कि उनका दर्शन, भारतीय राजनीति को अंतिम व्यक्ति के उत्कर्ष हेतु सदैव प्रेरित करता रहेगा.
मुख्यमंत्री ने कहा कि श्रद्धेय दीनदयाल उपाध्याय जी सामाजिक और राजनीतिक जीवन में सत्यनिष्ठा के प्रतिमान, कुशल संगठनकर्ता भी थे। उनका सम्पूर्ण जीवन समाज सेवा के लिये समर्पित रहा है। पंडित दीनदयाल जी न सिर्फ एक महान चिंतक, विचारक थे बल्कि वे दार्शनिक होने के साथ ही एक योग्य राजनेता और कुशल पथ प्रदर्शक भी थे.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पार्टी के विचारक दीनदयाल उपाध्याय की पुण्यतिथि पर दिल्ली में भाजपा सांसदों को संबोधित किया. पंडित दीनदयाल का जन्म 25 सितंबर 1916 को हुआ था. वे राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सदस्य थे. वे भारतीय जनसंघ के अध्यक्ष भी रहे. वे एक समावेशित विचारधारा के समर्थक थे जो एक मजबूत और सशक्त भारत चाहते थे. राजनीति के अलावा उनकी साहित्य में भी गहरी रुचि थी. उन्होंने हिंदी और अंग्रेजी भाषाओं में कई लेख लिखे, जो विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित हुए. उन्होंने एकात्म मानववाद नामक विचारधारा दी थी जिसके तहत विभिन्न संस्कृतियां आपस में मिलकर एख मजबूत राष्ट्र का निर्माण करें.
(संवाद 365/डेस्क)