देहरादून- विधानसभा सत्र के तीसरे दिन की कार्रवाई रही हंगामेदार, विपक्ष ने फाड़ी बजट की कॉपी

June 17, 2022 | samvaad365

विधानसभा सत्र की आज तीसरे दिन की कार्रवाई भोजन अवकाश के बाद काफी हंगामेदार रही। प्रदेश में प्राधिकरण में व्याप्त भ्रष्टाचार को लेकर नियम 58 के तहत चल रही चर्चा के दौरान जब संसदीय कार्य मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल की तरफ से संतोषजनक उत्तर नहीं मिला तो विपक्ष के सभी विधायक वेल में उतर आए और जमकर हंगामा हुआ इसी हंगामे के बीच बजट पर चर्चा की गई और हंगामा के बीच हुई विभाग बार चर्चा के बाद सदन कल सुबह 11:00 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया। इस हंगामे के दौरान विपक्ष के विधायकों ने सदन में बजट की कॉपियां भी फाड़ी तो वही कांग्रेस की विधायक अनुपमा रावत ने सदन से बाहर आकर मीडिया के सामने अपने हाथों पर पड़े निशानों को दिखाते हुए कहा कि उनके साथ सदन के भीतर सुरक्षाकर्मियों द्वारा जबरदस्ती की गई.

सदन स्थगित होने के बाद मीडिया से बातचीत करते हुए नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने कहा कि सरकार प्रदेश के जनहित वाले मुद्दों को लेकर बिल्कुल भी गंभीर नहीं है सरकार किसी भी सवाल का संतोषजनक जवाब नहीं दे रही है उन्होंने कहा कि प्राधिकरण ओं का विषय बेहद गंभीर है पूरे प्रदेश की जनता प्राधिकरण में व्याप्त भ्रष्टाचार से परेशान है लेकिन सरकार का उदासीन रवैया बताता है कि सरकार की चर्चा भी इस भ्रष्टाचार में मौजूद है। वही इसके अलावा अल्मोड़ा से कांग्रेस विधायक मनोज तिवारी ने बताया कि पहाड़ी जनपदों में जिस तरह से प्राधिकरण के नाम पर आम जनता को लूटा जा रहा है वह बेहद निराशाजनक है उन्होंने कहा कि पहाड़ी जनपद में जब भी कोई निम्न तबके का व्यक्ति अपनी भूमि पर मकान बनाता है तो उसे बैंक से लोन लेने के लिए नक्शा पास करवाना पड़ता है और इसे नक्शा पास करवाने के लिए उसे दर-दर की ठोकरें खानी पड़ती है वही इसके अलावा विपक्षी विधायक अनुपमा रावत ने कहा कि उनके विधानसभा क्षेत्र हरिद्वार ग्रामीण में प्राधिकरण के कार्यालयों में लोगों को दर-दर की ठोकरें खानी पड़ रही है लेकिन सरकार कुछ भी सुनने के लिए राजी नहीं है।

वहीं दूसरी तरफ सरकार की ओर से इस पूरे प्रकरण पर जानकारी देते हुए संसदीय कार्य मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने कहा कि विपक्ष सदन को शांतिपूर्वक ढंग से चलाने के मन में नहीं है और चर्चा की जगह हंगामे पर उतर आई है उन्होंने कहा कि यह बेहद शर्मनाक है कि जिस तरह से विपक्ष के विधायक सदन में सदन की गरिमा को भंग कर रहे हैं उन्होंने कहा कि उत्तराखंड की जनता विपक्ष को उनके इस कृत्य के लिए माफ नहीं करेगी साथ ही उन्होंने जिला प्राधिकरण के विषय पर कहा कि पिछली सरकार में सदन में ही जिला प्राधिकरण के विषय पर समिति गठित की गई थी जिसकी रिपोर्ट के अनुसार ही यह व्यवस्था लागू की गई थी कि ग्रामीण क्षेत्रों में भवन बनाने के लिए नक्शा पास कराना अनिवार्य नहीं है बल्कि विकल्प स्वरूप है लेकिन विपक्ष चर्चा करने के लिए राजी नहीं है इसी की के चलते आज विपक्ष ने सदन में हंगामा किया और सदन में जो बजट पर जो चर्चा लंबे समय तक होनी थी उसे विपक्ष के हंगामे के चलते बेहद कम समय में पूरा किया गया।

(संवाद 365, संदीप रावत)

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