भारत का लोकप्रिय कैंची धाम,बाबा नीम करौली महाराज के दर्शन करने आती हैं बड़ी बड़ी हस्तियां

June 15, 2021 | samvaad365

भारत का लोकप्रिय कैंची धाम जो भी आता है वो खाली हाथ नहीं लौटता …..कैंची धाम के बाबा नीम करौली महाराज की लोकप्रियता पूरी दुनिया में है । बताया जाता है की हनुमान जी की कड़ी उपासना करने के बाद उनहें अलौकिक शकितियां प्राप्त हुई थी । 1961 में पहली बार बाबा कैंची आए थे उसके बाद 1964 मे बाबा ने यहा पर एक आश्रम का निर्माण कराया जिसे कैंची धाम के नाम से जाना जाने लगा । तब से हमेशा 15 जून के मेले का आयोजन किया जाता है ।हालाकिं कोरोना संक्रमण के चलते इस बार भी 15 जून को कैंची मंदिर के स्थापना दिवस पर मेला नहीं लग पाया। कुछ भक्तों ने तो घर पर ही बाबा नीम करौली महाराज को याद किया, लेकिन कुछ भक्त भवाली स्थित मंदिर पहुंचे और बाहर से ही बाबा का आशीर्वाद लिया।

 

बाबा के भक्तों की बात करें तो इनमें आम से लेकर खास तक हर कोई शामिल हैं  . मार्क जुकरबर्ग और हॉलीवुड अभिनेत्री जूलिया रॉबर्ट्स, फेसबुक के संस्‍थापक मार्क जुकरबर्ग, एप्‍पल के संस्‍थापक स्‍टीव जॉब्‍स, से लेकर विश्व के कई कोनों में बाबा के भक्त मौजूद है ।एक मुलाकात में मार्क जुकरबर्ग ने पीएम मोदी से ये जिक्र किया था कि जब उनकी फेसबुक कंपनी घाटे में थी तब उन्हें एप्पल के संस्थापक  स्‍टीव जॉब्‍स ने भारत के कैंची धाम की जामकारी दी ,जिसके बाद मार्क जुकरबर्ग यहां आए और उन्हें बाबा के धाम में एक अगल उर्जा मिली और उनकी फेसबुक कंपनी को भी मुनाफा हुआ ।2011 में रिलीज हुई किताब ‘स्टीव जॉब्स’ में वॉल्टर आईजेक्सन लिखते हैं कि रॉबर्ट 1973 में भारत आये थे और नीम करोली बाबा के दर्शन किये थे.बाबा नीम करौली महाराज के दुनिया में 108 आश्रम हैं जिनमें से सबसे बड़ा कैंची धाम नैनीताल और अमेरिका के न्यू मैक्सिको सिटी में टाउस आश्रम हैं ।  कैंची आश्रम में अब भी विदेशी आते रहते हैं। बताया जाता है कि सबसे ज्यादा अमेरिकी ही इस आश्रम में आते हैं। आश्रम पहाड़ी इलाके में देवदार के पेड़ों के बीच है। यहां पांच देवी-देवताओं के मंदिर हैं। इनमें हनुमान जी का भी एक मंदिर है। भक्तों का मानना है कि बाबा खुद हनुमान जी के अवतार थे।सबके प्ररेणा स्त्रोत बाबा का 1973 में निधन हो गया था। लेकिन उनके धाम के प्रति आस्था आज भी बरकरार है और सैकड़ों की तादाद बाबा के दर पर देखने को मिलती रहती है ।

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