अब देहरादून में प्लास्टिक कचरे से बनेगा डीजल… IIP में प्लांट का हुआ उद्घाटन

August 27, 2019 | samvaad365

देहरादून: उत्तराखंड में अब प्लास्टिक कचरे से डीजल बनेगा. जी हां आईआईपी देहरादून में पहली प्रायोगिक व्यवसायिक यूनिट की शुरुआत की गई है. मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत और केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री डॉ हर्षवर्धन ने इसका उद्घाटन किया है. एक टन प्रतिदिन क्षमता के इस संयंत्र से 800 लीटर डीजल का उत्पादन होगा.

.सीएसआईआर भारतीय पेट्रोलियम संस्थान देहरादून में ये संयंत्र स्थापित किया गया है. बायोफ्यूल से सफलतापूर्वक एयरक्राफ्ट उड़ाने के बाद इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ पेट्रोलियम आईआईपी अब प्लास्टिक से डीजल और पेट्रोल का उत्पादन करने जा रहा है.

इस यूनिट से शुरुआत में प्रतिदिन 800 लीटर डीजल उत्पादन होगा. केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री डॉक्टर हर्षवर्धन ने कहा कि सफलतापूर्वक देश को बड़ा प्लांट समर्पित करने बड़ा मौका मिला है. पूरी दुनिया प्लास्टिक फ्री बनाने की ओर प्रयासरत. प्लास्टिक पर्यावरण के लिए बेहद घातक है.

ये आईआईपी के वैज्ञानिकों की बड़ी उपलब्धि है. डॉ हर्षवर्धन ने कहा कि एनजीओ की मदद से प्लास्टिक कचरे को इकट्ठा करेंगे और इससे लोगों को रोजगार मुहैया करवाया जाएगा. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इससे बड़ा 10 टन का प्लांट बनेगा और इसका खर्चा तीन साल में पूरा हो जाएगा. कई वर्षों के शोध के चलते बायोफ्यूल के बाद आईआईपी अब प्लास्टिक से बड़े पैमाने पर डीजल व पेट्रोल का उत्पादन करने जा रहा है.

आईआईपी निदेशक डॉ अंजन राय ने कहा कि कई वर्षों के शोध के चलते बायोफ्यूल के बाद आईआईपी अब प्लास्टिक से बड़े पैमाने पर डीजल व पेट्रोल का उत्पादन करने जा रहा है. उन्होंने कहा कि प्लास्टिक से डीजल और पेट्रोल का अविष्कार पहले ही आईआईपी कर चुका था. अब इसका उत्पादन आईआईपी करेगा.

आईआईपी की यूनिट में दस हजार टन प्लास्टिक कचरे से एक बार में 800 लीटर डीजल बनाने की क्षमता है. एनजीओ की मदद से और लोगों की जागरूकता से इस यूनिट से बेहतर उत्पादन होगा और आने वाले दिनों में देश के अन्य क्षेत्रों में भी इसी तरह से यूनिट लगाई जाएगी.

(संवाद 365/ किशोर रावत)

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