देहरादून: जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में 14 फरवरी 2019 को आतंकवादियों ने सीआरपीएफ की टुकड़ी पर हमला किया था। जिसमें कई जवान देश के लिए शहीद हो गए थे। वहीं इस आतंकवादी हमले के तीन दिन बाद यहां पर आतंकियों व सुरक्षाबलों के बीच मुठभेड़ हुई। जिसमें उत्तराखंड के मेजर विभूति शहीद हो गए थे। शहीद मेजर विभूति शंकर ढौंडियाल देहरादून के नेशविला रोड (डंगवाल मार्ग) के रहने वाले थे। मेजर विभूति के शहीद होने के बाद अब उनकी पत्नी निकिता देश की सेवा करने की राह पर चल पड़ी हैं। सैन्य अफसर बनने की ओर वह कदम बढ़ा चुकी हैं। टेस्ट व साक्षात्कार वह क्वालिफाई कर चुकी हैं और उन्हें उम्मीद है कि मेरिट में भी वह अपना स्थान बना लेंगी।
34 वर्षीय मेजर विभूति ढौंडियाल सेना के 55 आरआर (राष्ट्रीय राइफल) में तैनात थे। वह तीन बहनों के इकलौते भाई थे। वर्ष 2018 अप्रैल माह में उनकी शादी हुई थी। शादी को एक साल भी नहीं हुआ था, जब उनकी शहादत की खबर आ गई। पर उनकी पत्नी निकिता ने न केवल खुद को, बल्कि परिवार को भी संभाला। शहीद पति को अंतिम विदाई देते वक्त उन्होंने जो हिम्मत दिखाई, वह अब भी उनके हौसले को बयां करती है। वह ताबूत के पास खड़ी रहीं और पति का चेहरा हाथों से चूमकर उन्हें आई लव यू कहा। उन्हें सैल्यूट किया। अब वह पति के ही नक्शे कदम पर चल पड़ी हैं। वह दिन दूर नहीं, जब वह उनकी ही तरह फौजी वर्दी में दिखाई देंगी।
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संवाद365/काजल