उत्तराखंड से बीजेपी के राज्यसभा सांसद अनिल बलूनी इन दिनों सोशल मीडिया पर चर्चाओं में हैं. खासतौर पर अनिल बलूनी समय समय पर अपने पत्रों को लेकर चर्चाओं में आ रहे हैं. एक बार फिर से सोशल मीडिया के माध्यम से अनिल बलूनी ने एक चिट्ढी की जानकारी साझा की है. इस चिट्ढी के माध्यम से अनिल बलूनी ने बताया है कि वो अपना नाम कोटद्वार की वोटर लिस्ट से कटवा रहे हैं.
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और उसे अपने मूल गांव नकोट पट्टी कंडवालस्यूं पौड़ी गढ़वाल में स्थानांतरित कर रहे हैं. अब आप सोच रहे होंगे कि आखिर अनिल बलूनी ऐसा क्यों कर रहे हैं. इसको समझने के लिए आप ये पोस्ट पढ़िए जो अनिल बलूनी ने अपने फेसबुक पर डाला है. इसे हम बिना छेड़छाड़ किए आपको पढ़ाते हैं.
मित्रों, मैंने अपने मूल गांव की मतदाता सूची में अपना नाम जोड़ने का निर्णय किया है। अभी तक मेरा नाम मालवीय उद्यान, कोटद्वार की सूची में था, जिसे मैंने स्थानांतरित कर ग्राम. नकोट, पट्टी. कंडवालस्यु, विकासखंड कोट, जिला पौड़ी में स्थानांतरित कर दिया है.
यह मेरी निजी स्तर पर प्रतीकात्मक शुरुआत है ताकि हम अपने छूट चुके गांव से जुड़ने का शुभारंभ करें और जनअभियान बनायें. पलायन के समाधान के लिए केवल सरकारों पर आश्रित नहीं रहा जा सकता। पहल अपने-अपने स्तर पर हमें भी करनी होगी। ऐसा कर प्रवासियों का अपने मूल गांव से पुनः भावनात्मक रिश्ता बनेगा, गांव की समस्याओं से अवगत होंगे और मिलजुलकर उनका समाधान करेंगे. तभी हमारी समृद्ध भाषा, संस्कृति, खानपान, रीति-रिवाज और महान परंपरायें जीवित रह सकेंगी।
—– अनिल बलूनी की फेसबुक वॉल से
तो आप अनिल बलूनी की इस पोस्ट को पढ़कर समझ ही गए होंगे कि आखिर अनिल बलूनी ऐसा क्यों कर रहे हैं. बलूनी कहते हैं कि अपने गांव से जुड़ने के लिए इस तरह की पहल सभी को करनी चाहिए और इसकी शुरूआत वो खुद से ही कर रहे हैं.
संवाद 365/ काजल
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